नई दिल्ली। गृह मंत्रालय में अंडर सेक्रेटरी रहे आरबीएस मणि ने एक साक्षात्कार में कहा कि इशरत मामले में उनसे गलत बयान लेने के लिए टॉर्चर भी किया गया था। यहां तक कि एसआईटी चीफ सतीश वर्मा पर उन्होंने सिगरेट से दागने का भी आरोप लगाया। मामले पर दो हलफनामे दाखिल करने वाले आर वी एस मणि के इस बयान पर बवाल मच गया और भाजपा और कांग्रेस आमने-सामने आ गए। इंटरव्यू में मणि ने आरोप लगाया कि उन्हें मामले में वरिष्ठ आईबी अधिकारियों को फंसाने के लिए प्रताड़ित किया गया था ताकि यह पेश किया जा सके कि इशरत और अन्य तीन लश्कर आतंकवादियों के साथ 2004 में अहमदाबाद में हुई मुठभेड़ फर्जी थी। मणि का कहना था कि दूसरा हलफनामा दाखिल करने के फैसले के पीछे चिदंबरम थे।